लड़कियों से बात करने में झिझक

प्रश्न: आचार्य जी, लड़कियों से बात करने में झिझक महसूस होती है। इस झिझक को कैसे दूर करूँ?

आचार्य प्रशांत जी: तुम हर समय लड़के बनकर क्यों घुमते हो?

तुम जितना ज़्यादा देह-भाव में जियोगे, उतना ज़्यादा अपने लिए परेशानियाँ खड़ी करोगे।

लड़कों के सामने कौन शरमाती है? लड़की। ‘लड़की’ माने क्या? लड़की का हाथ, लड़की का जिस्म, लड़की के अंग। कौन-सा अंग शरमाता है ज़रा बताना। लड़कियाँ लड़कों…

आचार्य प्रशान्त - Acharya Prashant

रचनाकार, वक्ता, वेदांत मर्मज्ञ, IIT-IIM अलुमनस व पूर्व सिविल सेवा अधिकारी | acharyaprashant.org