पुरुष और स्त्री का मूल संबंध
खसम उलटि बेटा भया, माता मिहरी होय।
मूरख मन समुझै नहीं, बड़ा अचम्भा होय।।
~ कबीर साहब
आचार्य प्रशांत: कर्म, कर्म का केंद्र, कर्म का स्वामी, कर्मफल — समझेंगे इनको।
खसम उलटि बेटा भया
‘खसम’ का अर्थ हुआ जिसको तुमने स्वामी का स्थान दिया, और ‘बेटा’ हुआ स्वामी को स्वामित्व देने का फल। जिसको पति बनाओगे, उसी के केंद्र से…