ध्यान की विधियों के नाम पर बेईमानी
मुझे बेईमानी पसंद नहीं है। मैंने कभी भी तकनीकों को पूरी तरह नकार नहीं दिया, मुझे आपत्ति तकनीकों से कम, तकनीकों के पीछे बेईमान मन से ज़्यादा है।
ध्यान की विधियों का निर्माण इसलिए हुआ है ताकि तुम महीने भर इनको आजमा कर के जीवन में उतर पाओ और उस जीवन में कोई विधि, कोई तरीका काम नहीं आता, कोई सहारा काम नहीं आता। वहाँ तुम्हें हर चीज़ छोड़नी पड़ती है। ध्यान की विधियाँ बस इसलिए है कि तुम उन्हें एक-दो महीने करो और…